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स्थानीय समुदायों को रोजगार और कौशल प्रदान करने की श्रेणी में उत्तराखण्ड पर्यटन विकास बोर्ड को मिला सिल्वर अवॉर्ड

Uttarakhand Tourism Development

नई दिल्ली में आयोजित आईसीआरटी इंडिया और उपमहाद्वीप पुरस्कार 2024 में उत्तराखण्ड पर्यटन विकास बोर्ड ने अपनी उत्कृष्टता का परचम लहराया। स्थानीय समुदायों को रोजगार और कौशल प्रदान करने की श्रेणी में बोर्ड को सिल्वर अवॉर्ड से सम्मानित किया गया। उत्तराखण्ड के पर्यटन मंत्री सतपाल महाराज ने इस प्रतिष्ठित अवॉर्ड को बोर्ड की ओर से प्राप्त किया।

इस अवसर पर सतपाल महाराज ने उत्तराखण्ड पर्यटन विकास बोर्ड की उन पहलों को रेखांकित किया, जिन्होंने प्रदेश के दूरदराज के क्षेत्रों में पर्यटन को प्रोत्साहित करने और स्थानीय युवाओं को रोजगार के अवसर प्रदान करने में महत्वपूर्ण योगदान दिया है। उन्होंने बताया कि इस कार्यक्रम के तहत अब तक 4050 युवाओं को विभिन्न कौशलों में प्रशिक्षित किया जा चुका है, जिसमें 1000 धरोहर टूर गाइड्स, 500 कुशल टैक्सी चालक, 2000 गेस्ट हाउस केयरटेकर्स, और 550 प्रकृति गाइड्स शामिल हैं।

श्री महाराज ने कहा कि यह पहल न केवल उत्तराखण्ड की समृद्ध धरोहर और प्राकृतिक सौंदर्य को विश्वभर के पर्यटकों के सामने कुशलता से प्रस्तुत करती है, बल्कि स्थानीय समुदायों को आर्थिक उन्नति के अवसर भी प्रदान करती है। इस कार्यक्रम ने महिलाओं की भागीदारी को भी बढ़ावा दिया है, जिससे पर्यटन क्षेत्र में लिंग समानता और सशक्तिकरण को प्रोत्साहन मिला है।

आईसीआरटी इंडिया और उपमहाद्वीप पुरस्कार समारोह में पर्यटन मंत्रालय की महानिदेशक सुश्री मुग्धा सिन्हा और आईसीआरटी के संस्थापक निदेशक डॉ. हेरोल्ड गुडविन सहित अन्य गणमान्य अतिथियों ने भी भाग लिया। इस सम्मान ने उत्तराखण्ड पर्यटन विकास बोर्ड की निरंतर प्रयासों और दूरदर्शी दृष्टिकोण की पुष्टि की है, जो प्रदेश के पर्यटन क्षेत्र को स्थायी और समावेशी बनाने की दिशा में अग्रसर है।

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